Category Archives:  Spiritual

व्रत के दिन सहवास करना अच्छा या बुरा | जानिए धर्म की राय...

Jan 25 2019

Posted By:  Sandeep

आप लोगो ने बहुत से वैवाहिक जोड़ो को नवरात्रा या किसी धर्म-कर्म के कार्य के समय अपने पार्टनर से दूरी बनाये रखते देखा ही होगा | क्योंकि लोगों का मानना है कि जिस समय धर्म से समन्धित कार्य हो रहे हो उस समय अपने पार्टनर से दूर रहना चाहिए | ऐसे समय में यदि कोई दम्पति एक दूसरे के साथ आलिंगन में रहते है तो व्यक्ति पाप का भागी बनता हैं | आज हम इसी हेतु हर धर्म से जुडी कुछ बातें बताने जा रहे हैं | आईये जाने कि व्रत या धर्म-कर्म के कार्यों के समय संबं'ध बनाने के बारे में क्या बताया गया हैं | 


हिन्दू धर्म  
हिन्दू धर्म में माना जाता है कि व्रत के दौरान एक पुरुष को अपनी पत्नी के नजदीक नहीं जाना चाहिए | जबकि शास्त्रों में ऐसा कोई कठोर नियम नहीं है | लेकिन वैज्ञानिक दृष्टि कोण से बात की जाये तो ये बात बिलकुल सही है की पुरुष और महिलाओ को उपवास या व्रत के दिन अपने पार्टनर से दूर रहना चाहिए | क्योंकि व्रत के दौरान शरीर में बिल्कुल भी ताकत नहीं रहती है और कामेच्छा की पूर्ति हेतु अत्यंत ऊर्जा की आवश्यकता पड़ती है | इसलिए हिन्दू धर्म में सहवास को गलत बताया गया है | 

मुस्लिम धर्म
मुस्लिम धर्म के अनुसार एक पत्नी अपने पति के साथ व्रत के दिन संबंध नहीं बना सकती है | लेकिन रात्रि में महिला पुरुष के साथ अंतःपुर में जा सकती है | इसलिए जिस दिन रोजा होता है उस दिन केवल रात में स्त्री और पुरुष एक हो सकते है | जबकि दिन में ऐसा करना महापाप समझा जाता है |



ईसाई धर्म
ईसाई धर्म सभी धर्मो से अलग है | इस धर्म में हर व्यक्ति स्वतंत्र रहता है | वह व्रत के समय कोई भी कार्य कर सकता है | इस धर्म के अनुसार ये बहुत ही पवित्र काम है और ये दो लोगों को आपस में जोड़ने का काम करता है | लेकिन वैज्ञानिक इस बात का विरोध करते है |

बौद्ध धर्म
बौद्ध धर्म में शरीर की महत्वता पर अधिक बल दिया गया है | इसके अतिरिक्त बौद्ध धर्म का उद्देश्य है की जीवन में अति का विरोध कर मोह को त्यागना | इस धर्म में व्रत के दौरान महिला और पुरुष को एक कक्ष में रहने की सख्त मनाही है | लेकिन इसमें पवित्रता और थकावट के कारण मनाही नहीं है | बल्कि मोह से छुटकारा पाने के कारण सहवास पर रोक लगाई गयी है |


यहूदी धर्म
यहूदी धर्म में अपने अलग ही नियम होते है | इस धर्म के अनुसार व्रत के समय व्यक्ति अपनी इन्द्रियों को नियंत्रित करने की कोशिश करता है | इस दौरान व्रत करने वाला व्यक्ति खुद से जुड़ता है और मेडिटेट करता है | इसलिए ये धर्म उपवास या व्रत के दिन सहवास करने का विरोध करता है |
  सरकारी/गैरसरकारी नौकरीयो की ताजा अपडेट पाए अब अपने मोबाइल पर साथ ही रोजाना करंट अफेयर